रायपुर । राष्ट्रपिता महात्मा गांधी पर आपत्तिजनक टिप्पणी करने के आरोपित कालीचरण को एक दिन जेल में और रहना पड़ेगा। हाई कोर्ट से जमानत मिलने के बाद शनिवार को ट्रायल कोर्ट में उसकी जमानत नहीं हो पाई। जानकारी के अनुसार जमानतदार के दस्तावेज अधूरे होने के कारण यह स्थिति बनी।
92 दिनों से जेल में बंद कालीचरण को हाई कोर्ट ने शुक्रवार को सशर्त जमानत दे दी है। उसे एक लाख रुपये का निजी बांड व 50-50 हजार रुपये जमा करने वाले दो जमानतदार पेश करने के लिए कहा गया था।
रविवार को होगी कालीचरण की जमानत
शनिवार को हाई कोर्ट के आदेश के आधार पर रायपुर कोर्ट में जमानदार पेश किए गए। इनमें से एक जमानतदार के दस्तावेज अधूरे थे। इस वजह से जज ने रिहाई पर रोक लगा दी। संभवत: अब रविवार को कालीचरण की जमानत होगी।
शनिवार की शाम कालीचरण के स्वागत के लिए जेल के बाहर बड़ी संख्या में उसके समर्थक जुटे हुए थे। कई जगह कालीचरण के बैनर-पोस्टर भी लगाए गए हैं। पूरे जश्न की तैयारी थी, लेकिन रिहाई नहीं हो पाने से उन्हें निराश होना पड़ा।
इन धाराओं के तहत केस दर्ज
जांच के दौरान साक्ष्यों के आधार पर कालीचरण के खिलाफ कार्रवाई में धारा 153 ए, 153 बी (1), 295 ए, 505(1) (बी) को भी शामिल किया गया है।
कालीचरण जेल से निकलते ही धर्म संसद आयोजक से करेंगे मुलाकात
कालीचरण की जमानत हाई कोर्ट ने मंजूर कर ली। वे कभी भी जेल से अब रिहा हो सकते है। बताया जा रहा है कि कालीचरण जेल से रिहा होते ही सबसे पहले धर्म संसद आयोजक पंडित नीलकण्ठ त्रिपाठी से मुलाकात करेंगे। कालीचरण जेल से सीधा नीलकण्ठ त्रिपाठी के निवास स्टेशन रोड नहर पारा स्थित नीलकंठेश्वर महादेव मंदिर में जाएंगे। वही मीडिया से प्रेसवार्ता कर अपने प्रशंसकों एवं शिष्यों से नीलकंठेश्वर महादेव मंदिर में ही मुलाकात करेंगे। उसके बाद वे अपने माता पिता से मिलने महाराष्ट्र जायेंगे।
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