नई दिल्ली: बुधवार रात्रि से लगातार हो रही तेज बारिश का पानी बालटाल बेस कैंप में इकट्ठा होना शुरू हो गया है. बालटाल बेस कैंप में हुए इस जलभराव के चलते सुरक्षाबलों द्वारा तैयार किए गए सिक्योरिटी एक्सेस कंट्रोल गेट की तरफ घुटनों तक पानी जमा हो गया है.
वहीं प्रशासन ने बालटाल बेसकैंप पहुंचे श्रद्धालुओं को पहाड़ी क्षेत्र पर लगाए गए कैंप में स्थानांतरित कर दिया है. उल्लेखनीय है कि तेज बारिश के चलते अमरनाथ यात्रा को रोक दिया गया है.
पवित्र गुफा के लिए जम्मू से रवाना हुए जत्थे को पहलगांव बेस कैंप पर रोक दिया गया है. वहीं श्रीनगर से रवाना हुए जत्थे को बालटाल बेस कैंप में रोका गया है. दरअसल, बालटाल से संगम होते हुए पवित्र गुफा को जाने के लिए कच्चा रास्ता है.
इसी तरह जम्मू से पहलगांव बेस कैंप होते हुए पवित्र गुफा को जाने वाले रास्ते में चंदनवाड़ी तक ही पक्की सड़क उपलब्ध है. चंदनवाड़ी के बाद श्रद्धालुओं को शेषनाग, पंचतरणी, संगम होते हुए कच्चे रास्ते से पवित्र गुफा तक का सफर तय करना पड़ता है.
वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार बारिश के दौरान कच्चे रास्ते पर श्रद्धालुओं का पैदल चलना सुरक्षा के लिहाज से खतरनाक है. लिहाजा, श्रद्धालुओं की सुरक्षा को देखते हुए इस यात्रा को पहलगांव और बालटाल बेस कैंप पर रोक दिया गया है.
वहीं इस बाबत श्री अमरनाथ श्राइन बोर्ड के अधिकारियों का कहना है कि तेज बारिश और खराब मौसम के चलते श्रद्धालुओं को बालटाल और पहलगांव बेस कैंप से आगे जाने की इजाजत नहीं दी जा सकती है. अ
धिकारियों के अनुसार, मौसम में सुधार होने के बाद ही श्रद्धालुओं को इन बेस कैंप से आगे बढ़ने की इजाजत दी जा सकती है.
उल्लेखनीय है कि बुधवार को जम्मू से रवाना हुए करीब 3000 अमरनाथ यात्री बालटाल और पहलगांव बेस कैंप पर पहुंच चुके हैं.
जिसमें 1904 श्रद्धालुओं ने पहलगांव के पारांपरिक रूट से पवित्र गुफा की तरफ जाने का फैसला किया था. जबकि 1091 श्रद्धालुओं ने पवित्र गुफा जाने के लिए बालटाल के रास्ते को चुना था. इन यात्रियों में 2234 पुरुष, 520 महिलाएं, 21 बच्चे और 120 साधू शामिल हैं. वहीं बालटाल और पहलगांव बेस कैंप में श्रद्धालुओं की बढ़ती संख्या को देखते हुए अधिकारियों ने जम्मू और श्रीनगर से रवाना होने वाले जत्थों को रोकने का फैसला किया है.
बालटाल और पहलगांव से पवित्र गुफा के बीच मौसम सामान्य होने के बाद ही इन श्रद्धालुओं को बढ़ने की इजाजत दी जाएगी.
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