रुस और यूक्रेन के बीच युद्ध लंबा चलेगा या खत्म होगा, इसका फैसला कुछ ही
घंटों में आनेवाला है। यूक्रेनी प्रतिनिधिमंडल बेलारूस (Belarus) की सीमा
पर पहुंच गये हैं, जहां उनकी रुसी प्रतिनिधिमंडल से बातचीत होगी। ये
ऐतिहासिक बातचीत भारतीय समय के मुताबिक दोपहर 3:30 बजे शुरु होगी। इस
बातचीत की सफलता इस बात पर निर्भर करती है कि रुस कितना झुकने को तैयार है
और युक्रेन को नॉटो में शामिल नहीं होने की स्थिति में सुरक्षा संबंधी क्या
गारंटी ऑफर करता है। ये सारा विवाद इसीलिए खड़ा हुआ क्योंकि यूक्रेन ने
रुस की मर्जी के खिलाफ नॉटो में शामिल होने को सहमति दे दी। अगर यूक्रेन
ऐसा नहीं करने का वादा करता है, तो युद्ध फौरन समाप्त हो सकता है।
रूस ने दावा किया किया है कि उसने यूक्रेन के तकरीबन 1000 सैन्य ठिकानों को तबाह कर दिया गया है।
रूसी रक्षा मंत्रालय के मुताबिक रूसी विमानों ने यूक्रेन के पूरे हवाई क्षेत्र में मजबूती हासिल कर ली है।
रुस
द्वारा किए गए ज़ाइटॉमिर ( Zhytomyr) हमले में Iskander मिसाइल का
इस्तेमाल किया गया था। यह एयर स्ट्राइक बेलारूस की तरफ से छोड़ी गई थी।
यानी बेलारूस ने रुस को युद्ध के लिए अपने इलाके का इस्तेमाल करने की इजाजत
दे दी है।
यूक्रेन की राजधानी कीव में प्रशासन
ने वीकेंड कर्फ्यू (Weekend Curfew) को हटा दिया है। यहां सभी छात्रों को
कहा गया है कि वे रेल पकड़कर अपने आगे के सफर के लिए जाएं। सभी से पश्चिमी
हिस्से की तरफ जाने को कहा गया है।
यूक्रेनी
रेलवे फंसे छात्रों को निकालने के लिए स्पेशल ट्रेन चला रही है, जिसमें कोई
टिकट नहीं लिया जा रहा है। जो पहले पहुंच रहे हैं, उन्हें ट्रेन में जगह
दी जा रही है।
भारत सरकार यूक्रेन में फंसे
भारतीय छात्रों को वहां से निकालने के लिए ‘ऑपरेशन गंगा’ (Operation Ganga)
चला रही है। इस ऑपरेशन में अब तक 2000 से ज्यादा छात्रों को यूक्रेन से
निकाला जा चुका है।
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