लखनऊ : उत्तर प्रदेश सरकार ने पुलिस गोली से मरने वाले विवेक तिवारी के परिवार को मुआवजा और एक सदस्य को नौकरी देने का वादा किया है। इसके बाद परिवारीजन शव के अंतिम संस्कार को लिए तैयार हो गए।
उल्लेखनीय है कि कार सवार विवेक को रात लखनऊ पुलिस ने चेकिंग के दौरान गाड़ी न रोकने पर गोली मार दी थी जिससे उनकी मौत हो गई।
विवेक के परिवार वाले सीबीआइ जांच, नौकरी और मुआवजा की मांग कर रहे थे। उनकी दो मांगें पूरी हो गईं तीसरी को लेकर सीएम योगी आदित्यनाथ ने जरूरत पड़ने पर सीबीआइ जांच का भी आश्वासन दिया है।
परिवारीजन ने न्यू हैदराबाद स्थित आकाश गंगा टॉवर के बाहर शव रखकर आरोपित सिपाहियों को सख्त सजा दिलाने की मांग की। विवेक की पत्नी कल्पना तिवारी ने मुख्यमंत्री को बुलाने की मांग की।
जब उन्हें अधिकारियों ने बताया कि मुख्यमंत्री शहर में नहीं हैं, तब उन्होंने पत्र लिखकर घटना की सीबीआइ जांच व एक करोड़ के मुआवजे की मांग की।
परिवारीजन मांगें पूरी न होने तक शव का अंतिम संस्कार न करने पर अड़े हुए थे और लगातार विरोध-प्रदर्शन कर रहे थे। उनके साथ स्थानीय लोगों के साथ कांग्रेस-सपा नेताओं ने भी प्रदर्शन किया।
उल्लेखनीय है कि विवेक की पत्नी कल्पना तिवारी ने कहा था कि मामले में लीपापोती हो रही है। ये एनकाउंटर नहीं है पर मेरी जिंदगी खराब हो गई है। मेरे बच्चे पूछेंगे कि पापा को क्या हुआ? मैं क्या जवाब दूंगी कि पुलिस वालों ने गोली मार दी। ऐसा क्या गलत काम किया था? कितने सवालों का जवाब देती रहूंगी। पुलिस वालों ने परिवार उजाड़ दिया। मुख्यमंत्री जवाब दें कि पुलिस इस तरह किसी की हत्या कैसे कर सकती है। जब तक मुख्यमंत्री नहीं आएंगे अंतिम संस्कार नहीं किया जाएगा। मुझे सीबीआइ जांच, मुआवजा और नौकरी चाहिए।
उल्लेखनीय है कि कार सवार विवेक को रात लखनऊ पुलिस ने चेकिंग के दौरान गाड़ी न रोकने पर गोली मार दी थी जिससे उनकी मौत हो गई।
विवेक के परिवार वाले सीबीआइ जांच, नौकरी और मुआवजा की मांग कर रहे थे। उनकी दो मांगें पूरी हो गईं तीसरी को लेकर सीएम योगी आदित्यनाथ ने जरूरत पड़ने पर सीबीआइ जांच का भी आश्वासन दिया है।
परिवारीजन ने न्यू हैदराबाद स्थित आकाश गंगा टॉवर के बाहर शव रखकर आरोपित सिपाहियों को सख्त सजा दिलाने की मांग की। विवेक की पत्नी कल्पना तिवारी ने मुख्यमंत्री को बुलाने की मांग की।
जब उन्हें अधिकारियों ने बताया कि मुख्यमंत्री शहर में नहीं हैं, तब उन्होंने पत्र लिखकर घटना की सीबीआइ जांच व एक करोड़ के मुआवजे की मांग की।
परिवारीजन मांगें पूरी न होने तक शव का अंतिम संस्कार न करने पर अड़े हुए थे और लगातार विरोध-प्रदर्शन कर रहे थे। उनके साथ स्थानीय लोगों के साथ कांग्रेस-सपा नेताओं ने भी प्रदर्शन किया।
उल्लेखनीय है कि विवेक की पत्नी कल्पना तिवारी ने कहा था कि मामले में लीपापोती हो रही है। ये एनकाउंटर नहीं है पर मेरी जिंदगी खराब हो गई है। मेरे बच्चे पूछेंगे कि पापा को क्या हुआ? मैं क्या जवाब दूंगी कि पुलिस वालों ने गोली मार दी। ऐसा क्या गलत काम किया था? कितने सवालों का जवाब देती रहूंगी। पुलिस वालों ने परिवार उजाड़ दिया। मुख्यमंत्री जवाब दें कि पुलिस इस तरह किसी की हत्या कैसे कर सकती है। जब तक मुख्यमंत्री नहीं आएंगे अंतिम संस्कार नहीं किया जाएगा। मुझे सीबीआइ जांच, मुआवजा और नौकरी चाहिए।
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