नई दिल्ली: सियाचिन ग्लेशियर में छह दिन तक 35 फुट बर्फ के नीचे दबे रहे जवान लांस नायक हनुमनथप्पा की हालत गंभीर, लेकिन स्थिर बनी हुई है। जानकारी के मुताबिक वह फिलहाल कोमा में हैं। उन्हें वेंटिलेटर पर रखा गया है। उनका लिवर और किडनी ठीक से काम नहीं कर रहा। साथ ही उन्हें निमोनिया भी है।
शाम को जारी मेडिकल बुलेटिन में रिसर्च एंड रेफरल अस्पताल के डॉक्टर ने अगले 24 से 48 घंटे बेहद अहम बताए हैं। पूरे देश में हनुमंतप्पा के जल्द ठीक होने के लिए दुआ की जा रही है। मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर और थल सेना प्रमुख ने अस्पताल जाकर हनुमंतप्पा का हाल चाल जाना। उनका परिवार भी दिल्ली पहुंच गया है।सियाचिन ग्लेशियर में एक सप्ताह पहले बर्फ खिसकने से 30 फुट नीचे दबे रहने के बाद जीवित निकाले गये लांस नायक हनमंथप्पा कोप्पाड जीवन के लिए संघर्ष कर रहे हैं।
कोप्पाड को मंगलवार को सियाचिन ग्लेशियर से यहां आर्मी हॉस्पिटल रिसर्च एंड रेफरल लाया गया और अस्पताल के अनुसार वह कोमा में हैं और उनकी हालत अत्यंत गंभीर है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर और सेना प्रमुख जनरल दलबीर सिंह सुहाग ने अस्पताल जाकर बहादुर सैनिक से मुलाकात की और देश से उनके जल्द स्वास्थ्य लाभ के लिए प्रार्थना करने को कहा।
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