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हिम्मत और पराक्रम से भरें हैं, मध्यप्रदेश पुलिस के सशक्त कदम हर मुसीबत से बड़े हैं : मुख्यमंत्री डॉ. यादव

 हिम्मत और पराक्रम से भरें हैं, मध्यप्रदेश पुलिस के सशक्त कदम हर मुसीबत से बड़े हैं : मुख्यमंत्री डॉ. यादव

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने सोमवार को पुलिस स्मृति दिवस के अवसर पर पुलिस लाइन उज्जैन में कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा कि प्रत्येक वर्ष 21 अक्टूबर को देश की आन्तरिक सुरक्षा, एकता, अखण्डता के लिये अपने प्राणों की आहुति देकर कर्त्तव्य-परायणता का अनूठा उदाहरण देने वाले शहीद पुलिसकर्मियों की स्मृति में पुलिस स्मृति दिवस मनाया जाता है। पुलिस देशभक्ति और जनसेवा के ध्येय वाक्य के साथ दिन-रात जनता की सेवा में तत्पर रहते हुए अपने प्राणों का उत्सर्ग कर देती है। ऐसे सभी बलिदानी पुलिसकर्मियों को मैं सैल्यूट करता हूं। पुलिसकर्मी देश की सेवाओं के संचालन में मदद करते हैं और देश की आन्तरिक सुरक्षा में सर्वोच्च योगदान देते हैं। कार्यक्रम में सांसद अनिल फिरोजिया, विधायक अनिल जैन कालूहेड़ा, सतीश मालवीय, महापौर उज्जैन मुकेश टटवाल, नगर निगम सभापति उज्जैन कलावती यादव सहित वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।


मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि कोरोना काल में कर्त्तव्य की वेदी पर पुलिस के जवान मुस्तैदी से तैनात रहे। पुलिसकर्मियों के इस अद्वितीय योगदान का स्मरण करते हुए देश-प्रदेश गौरवान्वित महसूस करता है। कोरोना काल में पुलिसकर्मियों, स्वास्थ्यकर्मियों व सफाईकर्मियों के उत्कृष्ट कार्य से देश की आबादी सुरक्षित रही। आजादी से लेकर आज तक ऐसे कई कठिन मौकों पर पुलिसकर्मियों द्वारा अपनी भूमिका को सार्थक सिद्ध किया है। उन्होंने कहा कि “हिम्मत और पराक्रम से भरें हैं, आपके सशक्त कदम हर मुसीबत से बड़े हैं, आपके शौर्य को नमन, आपके प्रताप को प्रणाम है, आप हमारी शक्ति हैं, मध्यप्रदेश का अभिमान हैं।”

कार्यक्रम में पुलिस जवानों द्वारा परेड प्रदर्शन कर वीर शहीदों को सलामी दी गई। परेड का नेतृत्व रक्षित निरीक्षक रणजीत सिंह ने किया। कार्यक्रम में मुख्यमंत्री डॉ. यादव, जन-प्रतिनिधि और अधिकारियों ने पुष्प-चक्र अर्पित कर वीर शहीद पुलिसकर्मियों को श्रद्धांजली अर्पित की। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने इस दौरान वीर शहीद स्व. लालबहादुर सिंह, स्व. बलराम के परिजन को शॉल, श्रीफल भेंट कर सम्मानित किया। मुख्यमंत्री ने परेड कमांडर से परिचय प्राप्त किया।

आईजी संतोष कुमार सिंह ने कहा कि पुलिस स्मृति दिवस हमें उन वीर पुलिसकर्मियों की याद दिलाता है, जिन्होंने समाज और देश की रक्षार्थ प्राण न्यौछावर किये हैं। आज से 65 वर्ष पूर्व 21 अक्टूबर 1959 को लद्दाख के बर्फीले क्षेत्र हॉटस्प्रिंग में 16 हजार फीट की ऊंचाई पर चीन की सशस्त्र सेना के साथ मुठभेड में केन्द्रीय रिजर्व पुलिस बल की पेट्रोलिंग पार्टी के 10 जवानों ने अपने प्राणों का बलिदान दिया था। तब से प्रतिवर्ष 21 अक्टूबर को पुलिस स्मृति दिवस के रूप में मनाया जाता है।


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