देश के सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने एक बार फिर कड़ी कार्रवाई करते हुए गलत सूचनाएं फैलानेवाले 16 यूट्यूब चैनलों को ब्लॉक कर दिया है। इनमें से 6 पाकिस्तानी यूट्यूब चैनल और 10 भारत से चलने वाले यूट्यूब चैनल हैं। इन सभी चैनलों की कुल व्यूवरशिप 68 करोड़ से ज्यादा थी। सरकार का मानना है कि इन चैनलों का इस्तेमाल सोशल मीडिया पर फेक न्यूज फैलाने और गलत सूचनाएं देकर लोगों को भड़काने के लिए किया जा रहा था। इन चैनलों पर भारत के विदेश मामलों, सांप्रदायिक सद्भाव और सामाजिक व्यवस्था को लेकर भी गलत टिप्पणियां की जा रही थीं। इसके अलावा इससे देश की आंतरिक सुरक्षा को भी खतरा था।
मंत्रालय की ओर से जारी किए गए बयान के मुताबिक इन चैनलों में से किसी ने भी आईटी रूल्स, 2021 के तहत केंद्र सरकार को
अपने प्रसारण के बारे में जानकारी नहीं दी थी। मंत्रालय ने कहा कि भारत से चलने वाले कुछ यूट्यूब चैनलों में एक समुदाय विशेष को आतंकवादी कहकर संबोधित किया जा रहा था। इससे अलग-अलग समुदायों के बीच वैमनस्यता पैदा होने का खतरा था। मंत्रालय ने कहा कि ऐसी तमाम चीजों को ध्यान में रखते हुए ही इन चैनलों को ब्लॉक करने का फैसला लिया गया।
क्या हैं इन चैनलों पर आरोप?
- सरकार के मुताबिक भारत से ही चलने वाले कई चैनलों पर बिना किसी वेरिफिकेशन के ही समाचारों का प्रसारण हो रहा था।
- इन पर गलत वीडियोज दिखाए जा रहे थे, जिससे समाज के अलग-अलग वर्गों में भय की स्थिति पैदा हो जाए।
- इन पर कई बार गलत जानकारी दी गई कि सरकार पूरे भारत में कोरोना के चलते लॉकडाउन लगाने पर विचार कर रही है। इसके चलते माइग्रेट लेबर्स में डर की स्थिति पैदा हुई।
- इसके अलावा कुछ धर्मों को लेकर गलत जानकारी दी गई और उनके अनुयायियों को खतरा होने की बातें कही गईं। देश की कानून-व्यवस्था के भंग होने का खतरा था।
- पाकिस्तान स्थित चैनलों से भारत के खिलाफ सुनियोजित ढंग से गलत सूचनाओं का प्रसारण किया जा रहा था।
- इनसे भारतीय सेना, जम्मू कश्मीर, भारत के विदेश मंत्रालय, यूक्रेन की स्थिति जैसे मसलों पर गलत जानकारी का लगातार प्रसारण किया जा रहा था।
- मिनिस्ट्री के मुताबिक इन चैनलों का कॉन्टेंट पूरी तरह से गलत पाया गया था। साथ ही यह राष्ट्रीय सुरक्षा, संप्रभुता और देश की अखंडता के लिए भी सही नहीं था।
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