गत 1 अप्रैल को बैंकिंग सेक्टर में बड़ा बदलाव आया था। इस दिन देश की 6 बैंकों का विलय 4 बैंकों में कर दिया गया। इनका वजूद अब
बदल गया है। इस बात को करीब दो महीने हो गए हैं और आने वाले दिनों में इसका फर्क
नज़र आने वाला है। इस मर्जर का सीधे तौर पर देश के लाखों ग्राहकों, खाताधारकों पर प्रभाव पड़ेगा। इनके
बैंक अकाउंट नंबर Account
Number, IFSC Code आईएफएससी कोड आदि भी बदलने वाले हैं। बैंकों के
मर्जर के एक सप्ताह पहले ही देश में लॉकडाउन की घोषणा हो गई थी लेकिन इस बीच
बैंकों का काम सुचारू रूप से चल रहा है।
ग्राहकों के पुराने एटीएम ATM और Cheque Book चेकबुक पहले की तरह काम कर रहे हैं। तकनीकी तौर
पर बैंकों का विलय हो गया लेकिन अभी जमीनी तौर समूची कवायद में समय लगेगा। ऑल
इंडिया बैंक इम्प्लॉइज एसोसिएशन (AIBEA)
का कहना है कि बैंकों का काम ठीक चल रहा है और इससे कर्मचारियों की
सेवा पर प्रभाव नहीं पड़ा है। आने वाले दिनों में ग्राहकों, खाताधारकों को यह करना पड़ सकता है।
बैंकों के मर्जर के करीब दो महीने बाद अब विजया
बैंक की 152
शाखाओं का इंटीग्रेशन पूरा हो चुका है। अब इस बैंक के ग्राहकों को बैंक ऑफ बड़ौदा
का बैंकिंग अनुभव मिलेगा। राज्य द्वारा संचालित बैंक ऑफ बड़ौदा (BoB) ने विलय के एक साल बाद एक और 132 पूर्व विजया बैंक शाखाओं का
इंटीग्रेशन यानी आईटी एकीकरण का काम पूरा कर लिया है। इसके साथ ही अभी तक विजया
बैंक की 152
शाखाओं को एकीकृत किया जा चुका है। इसके बाद अब इन विशेष शाखाओं पर जाने वाले
ग्राहक विजया बैंक के बजाय BoB की
बैंकिंग सेवाओं का उपयोग करेंगे। समाचार एजेंसी पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार
माइग्रेशन प्रक्रिया शुरू होने से पहले विजया बैंक और देना बैंक के सारे पेमेंट प्लेटफार्म
जैसे ATM एटीएम, NEFT एनईएफटी, RTGS आरटीजीएस और IMPS आईएमपीएस, UPI यूपीआई को
एकीकृत किया गया था।
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