कराची: पाकिस्तान के शीर्ष सैन्य अधिकारी ने शनिवार (15 जुलाई) को भारत पर 50 अरब डॉलर की लागत वाले चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारा (सीपीईसी) परियोजना को विध्वंसकारी गतिविधियों के जरिए निशाना बनाने का आरोप लगाया.
ज्वांइट चीफ ऑफ स्टाफ कमेटी के अध्यक्ष जनरल जुबैर महमूद हयात ने आरोप लगाया कि भारत का रिसर्च एंड एनालिसिस विंग (रॉ) विध्वंसकारी गतिविधियों के जरिए सीपीईसी को निशाना बना रहा है.
पाकिस्तान के रक्षा बल में सर्वोच्च रैंक के सैन्य अधिकारी ने यह टिप्पणी यहां नौसेना कैडेट की एक पासिंग आउट परेड को संबोधित करते हुए की.
उन्होंने यह भी कहा कि अफगानिस्तान में शांति एवं स्थिरता क्षेत्रीय सुरक्षा के लिए जरूरी है. सीपीईसी सड़क, रेल और ऊर्जा परियोजनाओं का एक नेटवर्क है.
यह दक्षिणी पाकिस्तान को और ग्वादर बंदरगाह को चीन के अशांत उयगुर स्वायत्त क्षेत्र से जोड़ता है.
ज्वांइट चीफ ऑफ स्टाफ कमेटी के अध्यक्ष जनरल जुबैर महमूद हयात ने आरोप लगाया कि भारत का रिसर्च एंड एनालिसिस विंग (रॉ) विध्वंसकारी गतिविधियों के जरिए सीपीईसी को निशाना बना रहा है.
पाकिस्तान के रक्षा बल में सर्वोच्च रैंक के सैन्य अधिकारी ने यह टिप्पणी यहां नौसेना कैडेट की एक पासिंग आउट परेड को संबोधित करते हुए की.
उन्होंने यह भी कहा कि अफगानिस्तान में शांति एवं स्थिरता क्षेत्रीय सुरक्षा के लिए जरूरी है. सीपीईसी सड़क, रेल और ऊर्जा परियोजनाओं का एक नेटवर्क है.
यह दक्षिणी पाकिस्तान को और ग्वादर बंदरगाह को चीन के अशांत उयगुर स्वायत्त क्षेत्र से जोड़ता है.
चूंकि यह पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) से होकर गुजरता है, इसलिए भारत ने इस परियोजना पर आपत्ति जताई है. गौरतलब है कि पाकिस्तान भारत पर विध्वंसकारी गतिविधियों में शामिल होने का आरोप अकसर लगाता रहा है.
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