बालेश्वर (ओडिशा) : बहुस्तरीय बैलेस्टिक मिसाइल रक्षा प्रणाली हासिल करने के प्रयास के तहत भारत ने स्वदेशी सुपरसोनिक इंटरसेप्टर मिसाइल का सफलतापूर्वक परीक्षण किया। यह मिसाइल उसकी ओर आने वाली किसी भी शत्रु बैलेस्टिक मिसाइल को नष्ट करने की क्षमता रखती है।
रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) के सूत्रों ने बताया, ‘उड़ान की स्थिति में इंटरसेप्टर के कई मानकों का सत्यापन करने के लिए यह परीक्षण किया गया जो सफल रहा है।’ इस इंटरसेप्टर के लिए पृथ्वी मिसाइल के नौसैन्य संस्करण को लक्ष्य के तौर पर स्थापित किया गया। इस लक्ष्य को बंगाल की खाड़ी में खड़े पोत से छोड़ा गया था।
रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) के सूत्रों ने बताया, ‘उड़ान की स्थिति में इंटरसेप्टर के कई मानकों का सत्यापन करने के लिए यह परीक्षण किया गया जो सफल रहा है।’ इस इंटरसेप्टर के लिए पृथ्वी मिसाइल के नौसैन्य संस्करण को लक्ष्य के तौर पर स्थापित किया गया। इस लक्ष्य को बंगाल की खाड़ी में खड़े पोत से छोड़ा गया था।
लक्ष्य वाली मिसाइल को दिन में करीब 11.15 बजे दागा गया और इंटरसेप्टर ‘एडवांस्ड एयर डिफेंस' (एएडी) मिसाइल को अब्दुल कलाम द्वीप पर तैनात किया गया था जिसे रडार से संकेत मिल रहे थे। इस इंटरसेप्टर ने लक्ष्य वाली मिसाइल को काफी ऊंचाई पर ही नष्ट कर दिया।
डीआरडीओ के एक वैज्ञानिक ने कहा, ‘इंटरसेप्टर की मारक क्षमता का आकलन कई निगरानी स्रोतों से किया गया।’ इंटरसेप्टर 7.5 मीटर लंबा मजबूत रॉकेट है जो नौवहन प्रणाली, हाईटेक कंप्यूटर और इलेक्ट्रो-मैनिकल एक्टिवेटर की मदद से गाइडेड मिसाइल से संचालित होता है।
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