संयुक्त राष्ट्र।संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने फ्रांस द्वारा प्रायोजित प्रस्ताव को सर्वसम्मति से पारित कर दिया है, जिसमें सभी देशों से इस्लामिक स्टेट (आईएस) के खिलाफ एकजुट होने का आह्वान किया गया है। संयुक्त राष्ट्र ने सदस्य देशों से आह्वान किया है कि वे इराक और सीरिया में आईएस के सुरक्षित ठिकानों को समाप्त करने और संगठन की आतंकवादी गतिविधियों पर लगाम लगाने के लिए अपने प्रयासों को समन्वित करें।
प्रस्ताव में राष्ट्रों से आह्वान किया गया है कि आईएस द्वारा जारी आतंकवादी गतिविधियों को कुचलने और रोकने के अपने प्रयासों को दोगुना और समन्वित करने के लिए क्षमतानुसार सभी आवश्यक कदम उठाएं। प्रस्ताव में आईएस के आतंकवादियों को अंतर्राष्ट्रीय शांति एवं सुरक्षा के लिए एक वैश्विक और अभूतपूर्व खतरा बताया गया है।
प्रस्ताव में संयुक्त राष्ट्र के चैप्टर-7 को लागू नहीं किया गया है, जो खासतौर से किसी संप्रभु देश की सीमा के अंदर बाहरी सैन्य बल के इस्तेमाल का अधिकार देता है। यह स्पष्ट तौर पर इस तरीके से तैयार किया गया है कि देशों को आईएस को निशाना बनाने और इसे समाप्त करने के लिए अतिरिक्त राजनयिक और राजनीतिक संरक्षण प्रदान करता है। चैप्टर सात ही एकमात्र ऐसा तरीका है, जिसके माध्यम से संयुक्त राष्ट्र बलों के उपयोग को हरी झंडी दे सकता है।
संयुक्त राष्ट्र ने यह कदम ऐसे समय में उठाया है, जब पेरिस के बाद माली में हुए एक अन्य आतंकवादी हमले को दुनिया ने देखा है। यहां इस्लामी आतंकवादियों ने राजधानी बमाको में स्थित एक होटल पर धावा बोला और संक्षिप्त समय के लिए 170 लोगों को बंधक बना लिया। बंधकों में चीन, फ्रांस और अमेरिका के नागरिक शामिल थे।
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