नई दिल्ली: अक्सर ऐसा माना जाता है की सैलरी वाले अमीर नहीं बन सकते है. नौकरी करके केवल जरूरत पूरी की जा सकती है. पैसे वाला नहीं बना जा सकता. जो लोग जीवन में कुछ न कुछ करना चाहते हैं और पाना चाहते हैं, बनना चाहते हैं. वे समय पर प्लानिंग कर लेते हैं. खास बात यह है कि नौकरी कर सैलरी पाने वाला व्यक्ति भी समझदारी के साथ जीवन यापन करे तो उसे भी अमीर बनने से कोई रोक नहीं सकता .
हैवेल्थ क्रिएशन का सबसे अहम फॉर्मूला है सेविंग. यंग लड़के जब नौकरी शुरू करते हैं उन्हें कोई सेविंग्स के बारे में नहीं बताता. ये सेविंग्स की आदत ही समझदार लोगों को समय से पहले अमीर बना देती है.
इनवेंस्टमेंट के जानकार बताते हैं कि यदि 25 साल का युवा यह समझ जाए तो वह कमाल कर सकता है. 25 साल बाद में वह अपना सपना साकार कर सकता है.
यानि 50 साल की उम्र में वह रिटायरमेंट प्लान कर सकता है और बाकी की उम्र आराम से गुजार सकता है. हम 25 साल कह रहे हैं. यदि कोई ज्यादा बचत करता है और निवेश करता है तो वह जल्द ज्यादा मुनाफा ले सकता है.
मान लीजिए कि एक युवा की सैलरी 30 हजार रुपये महीना है उस स्थिति में इनवेस्टमेंट के जानकार बताते हैं कि इसके लिए जरूरी है युवा 50-30-20 रूल ऑफ मनी को फॉलो करे. इसका तात्पर्य सिर्फ इतना है. 50 प्रतिशत में खर्चा, 30 में लग्जरी वांट्स या विसेस, और 20 प्रतिशत निवेश
एक व्यक्ति को अपनी आम जरूरतों के लिए यानि बेसिक नीड पर अपनी सैलरी का 50 फीसदी खर्च करने की लिमिट तय करनी होगी. हर हाल में उसे इस लिमिट या दायरे के भीतर ही अपनी जरूरतों को निपटाना है. इसमें वह रेंट, ईएमआई, रोटी कपड़ा मकान, बिजली बिल, इंटरनेट, फोन आदि, का बिल पूरा कर सकता है. इससे साफ है कि यदि सैलरी 30 हजार रुपये महीना है तब 15 हजार रुपये में अपना खर्चा पूरी तरह निपटाना होगा. यह साल में 1,80,000 रुपये होता है.
दूसरा मद जिसे सैलरी का 30 प्रतिशत. वर्तमान स्थिति में जब एक युवा की सैलरी 30 हजार रुपये ही है उस स्थिति में यह 9000 रुपये हुआ. साल का 108000 हजार रुपये हुआ. दूसरे मद का प्रयोग कर युवा अपनी इच्छाएं जिसे वांट्स कहें या फिर विशेज कहें यह पूरी कर सकता है. इससे कार की ईएमआई, महंगा फोन, आदि कुछ महंगा आइटम खरीद सकते हैं.
सबसे अहम है तीसरा हिस्सा. इसके लिए किसी अच्छे प्लानर से सलाह ले लीजिए. इस मद पर 30 हजार की सैलरी वाले व्यक्ति को 20 प्रतिशत तक खर्च करना चाहिए. स्पष्ट है कि यह रकम करीब 6000 रुपये महीना हुई. यानि एक युवा अगर 6000 रुपये महीने बचाता है तो यह 72000 रुपये सालाना की बचत होता है. यह कोई छोटी रकम नहीं है.
बचत कहां इनवेस्ट करना है. जानकारों की राय में स्टॉक्स, सेविंग फंड, एफडी, म्यूचुअल फंड आदि बेहतर विकल्प हैं जहां पर लंबे समय पर निवेश शानदार रिटर्न देते हैं. इसके लिए यह समझ जाइए कि पावर ऑफ कंपाउंडिंग पैसा आपका कहां से कहां पहुंचा देगा.
बाजार में म्यूचुअल फंड का रिटर्न यदि लंबे समय तक किया जाता है तब वह 15 प्रतिशत तक का रिटर्न दे रहा है. सही निवेश किसी जानकार की सलाह पर करिए. ऐसे में 6000 रुपये महीने का निवेश शांति से 25 साल की अवधि के लिए किया जाता है तब आप कुल 18 लाख रुपये का निवेश करते हैं
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